मैथिली गीत में अंजना आर्या उर्फ अंजू झा के खास पहचान छन्हि। अँजू झा विद्यापति स्मारक समिति के तत्वावधान में आयोजित जानकी नवमी महोत्सव में हिस्सा लेबाक लेल रांची आएल छलीह। हुनकर कहब छन्हि कि मैथिली गायकी के क्रेज बड्ड बढि गेल छैक आ एकर सुननिहारक संख्या सेहो बढ़ल छैक। मैथिली एलबम सेहो खूब बिका रहल अछि। ई स्थिति दरभंगा वा मधुबनी धरि सीमित नहि छैक अपितु दिल्लीयो में लोग एकरा हाथों-हाथ ल रहल छथि। अंजू जी मैथिली में मारिते गीत गओने छथि। रेडियो स्टेशन सं ल कए सौभाग्य मिथिला चैनल के टाइटल सांग तक हुनके गाओल छन्हि। ओ मैथिली में तं गबिते छथि, भगवती जागरण,हिंदी, भजन, भोजपुरी, अंगिका, तमिल सहित आनो कतेक भाषा में लोक गीत गाबि चुकल छथि। आब नै पहिरब सलवार यौ, हमरा साड़ी मंगा दिय, साया मंगा दिय...., बुढ़वा मांगै छथि करैला के चोखा.. , घुंघटा उठा दिय नै सजना के अतिरिक्तो कतेको चर्चित लोकगीत हुनके गाओलल छन्हि। हुनकर एलबम मिस कॉल बड़ लोकप्रिय भेल अछि। टी-सीरीज में चिहुन के पापा नाम सं नव एलबम अबएवला छन्हि।अंजू जी हमार टीवी, महुआ टीवी व सौभाग्य मिथिला के साथ ऑल इंडिया रेडियो,दिल्ली में नियमित लोकगीत गबैत छथि । हुनकर विचार छन्हि जे गायिकी के क्षेत्र में कलाकार के आब खूब सम्मान भेट रहल छैक आ आब लोक एकरा कैरियर के रूप में अपना सकैत अछि। प्रभात खबरि सं बातचीत में ओ कहलनि कि जतए कतहु स्टेज शो के मौका भेटए, अपनी गायिकी के पूरा तैयारी के साथ पेश कर,एही सं अहां कें एक अलग पहचान भेटत आ अपना आप में आत्मविश्वास सेहो पैदा हएत। हुनकर दृढ़ विश्वास छन्हि जे जं अहांक भीतर प्रतिभा अछि आ अहां पर्याप्त मेहनति करैत छी तं अहां कें गायकी आ कला के केओ नहि दबा सकैत अछि। अंजू झा जी रेडियो धूम के कार्यक्रम में सेहो शामिल भेलीह(प्रभात खबर,रांची,25 मई,2010)